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बुधवार, 23 जुलाई 2014

माँ!



कुछ गलती मैँ कर देता हूँ

कुछ मुझसे हो जाती है,

इसके बाद ये जालिम दुनिया

ताने बहुत सुनाती है,

तू न होती तो मेरी माँ!

मुश्किल था जिँदा रहना,

जब दुनिया मुँह फेरे मुझसे

तब तू गले लगाती है॥

                                     ( a snap with my dadi amma)

11 टिप्‍पणियां:

  1. उत्तर
    1. आभार सर!!!...लिखूंगा बस आप सब का स्नेह मिलता रहे..

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  2. बहुत सुन्दर सरल प्रवाह है आपकी रचनाओ में

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  3. बहुत ही कोमल भावनाओं में रची-बसी खूबसूरत रचना के लिए आपको हार्दिक बधाई।

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